एम सलीम खान ब्यूरो
डेरा प्रमुख बाबा तरसेम सिंह हत्याकांड में नया खुलासा हुआ है, पुलिस ने हत्यारों को मदद पहुंचाने वाले तीन और आरोपियों पर शिकंजा कसा है, पुलिस को एक ओर बड़ी सफलता हासिल हुई है, पुलिस ने तीन ओर शातिर मददगारों पर शिकंजा कसते हुए उन्हें गिरफ्तार किया है, पुलिस सूत्रों के मुताबिक यह इन तीनों आरोपियों ने तरसेम सिंह के हत्यारों शूटरों को हत्या करने के लिए अवैध हथियार और रकम उपलब्ध कराने में अहम भूमिका निभाई थी, आपको बता दें कि इस पूरे हत्याकांड में अब तक पुलिस सात शातिर आरोपियों पर शिकंजा कस चुकी है।
कई महीनों से सुन बुना जा रहा हत्या का ताना-बाना – एस एस पी टीसी
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ मंजूनाथ टीसी ने बताया कि 28 मार्च की सुबह करीब सवा छह बजे नानकमत्ता गुरुद्वारे के डेरा प्रमुख बाबा तरसेम सिंह की बाइक सवार दो बदमाशों ने उस वक्त गोली मारकर हत्या कर दी जब वो अपने डेरे के बाहर कुर्सी पर बैठे हुए थे,इस हत्याकांड को लेकर वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ मंजूनाथ टीसी ने आगे बताया कि इस जघन्य हत्याकांड की वारदात को अंजाम देने तक ले जाने के लिए एक बेहद सनसनीखेज षड्यंत्र रचा गया था, जिसकी तैयारी कई माह पहले से की जा रही थी।
शूटरों के तीन ओर मददगार पुलिस के शिकंजे में
पुलिस ने इस जघन्य हत्याकांड में शामिल हत्यारों को मदद पहुंचाने वाले तीन और मददगारों को गिरफतार किया है,इन मददगारों ने शूटरों तक 10 लाख रुपए की रकम में सौदा किया था,इस वारदात के लिए शूटरों को राइफल के साथ ज़रुरी सामग्री पहुंचने के अलावा उनके भागने की पूरी प्लानिंग पहले ही बना ली गई थी, पुलिस के शिकंजे में आएं तीन आरोपियों में से दो उधम सिंह नगर के बाजपुर कोतवाली क्षेत्र और एक उत्तर प्रदेश के जनपद पीलीभीत का रहने वाला है, हत्या की घटना को अंजाम देने वाले मुख्य आरोपी सरबजीत सिंह और अमरजीत सिंह की खोजबीन अभी जारी है, पुलिस उनकी गिरफ्तारी के लिए हर पहलू पर बारीकी से जांच पड़ताल करते हुए हत्यारों के गिरेबान तक पहुंचने का भरसक प्रयास कर रही है।