कालाढूंगी- (मुस्तजर फारूकी) बरसात का जगह जगह पानी रुकने से नगर में मच्छरों का आतंक बढऩे लगा है। मच्छरों को पनपने के लिए भी नगर मुख्य चौराहे के पास बारिश का पानी भरा हुआ है। गली-चौराहों पर गंदगी के ढेर लगे रहते हैं। गर्मी, उमस और पानी भरने की वजह से अक्सर मच्छरों को पनपने के लिए सही वातावरण मिल जाता है। जिससे कई खतरनाक बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है।
मानसून में मच्छरों से होने वाली बीमारियों में डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया,वायरल बुखार आदि शामिल हैं। जो अक्सर इन दिनों चिंता का विषय बने रहते हैं। लेकिन नगर पंचायत प्रशासनिक अधिकारियों का ध्यान इस ओर कतई नहीं है।
मानूसन की शुरुआत के साथ ही मच्छरों जनित बीमारियां भी पैर पसारना प्रारंभ कर देती हैं। जिसकी मुख्य वजह होती है गंदगी। जिसमें मच्छर पनपकर अपने डंक से लोगों को बीमारियां परोसते हैं। नगर सहित गांव में इस समय डेंगू और मलेरिया धीरे-धीरे पनप रहा है। नगर के अस्पताल में भी मलेरिया के मरीज पहुंच रहे हैं। नगर में कई ऐसी जहां पानी कई दिनों तक भरा रहता है।
तो वहीं अधिकांश जगहों पर नली, नालों के खुलों होने से उसमें भी मच्छर पनप रहे हैं। लेकिन मानसून के एक डेढ़ माह से ज्यादा समय बीत जाने के बाद भी अभी नगर पंचायत ने नगर में नाली-नालों की सफाई तो दूर उनमें कीटनाशक दवाओं का छिडक़ाव तक नहीं किया गया है।
जिस कारण नगर में मच्छर अब तेजी से पनपने लगे हैं। जिनके लार्वा से मलेरिया और डेंगू जैसे गंभीर रोग का खतरा भी बढ़ गया है। यह बीमारी गंभीर रूप ले सकती है अगर समय रहते इसका निदान और सही इलाज न कराया जाए। ऐसे में इस बीमारी से बचने के लिए जरूरी है कि खुद को मच्छरों से बचाना बेहद जरूरी है।