हल्द्वानी_सड़क चौड़ीकरण,तीन सप्ताह में अतिक्रमण तय करने के निर्देश

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हल्द्वानी-उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने हल्द्वानी में नैनीताल रोड से सड़क चौड़ीकरण के मामले में ज़िलाधिकारी की निस्तारण कमिटी को 3 हफ्ते में अतिक्रमण तय करने को कहा है। वहीं न्यायालय पहुंची ज़िलाधिकारी वंदना सिंह को न्यायालय ने बुलावे तक हाज़िर होने से राहत दी है।हल्द्वानी की नया सवेरा सोसाइटी ने अपनी 41 वर्षीय सचिव रेखा सती के माध्यम से उच्च न्यायालय में जनहित याचिका दायर की। याचिकि में कहा गया कि ये मुहिम 29 दिसंबर 2023 से शुरू हुई। कहा गया कि हल्द्वानी में अतिक्रमण हटाने और सड़क चौड़ीकरण का काम ठीक से नहीं किया गया है। इसमें प्रशासन ने महज खानापूर्ति की है, जबकि इस कारण मंगल पड़ाव और नैनीताल बरेली बस अड्डा अभी भी बौटल नैक बना हुआ है। इससे हर जगह अब ट्रैफिक जाम की स्थिति बन रही है। इससे क्षेत्रीय जनता को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।प्रशासन लापरवाहीपूर्ण और भेदभावपूर्ण रवैया अपना रहा है, जिससे क्षेत्र में दोबारा अतिक्रमण हो रहा है। ये भी आरोप लगाया गया कि अतिक्रमण के नाम पर कुछ लोगों को महज नोटिस जारी कर फॉर्मेलिटी की गई है। इससे पूर्व न्यायालय ने बीती 12 जनवरी को अतिक्रमण हटाने के निर्देश दिये थे और कहा था सड़क पर पड़े मलुवे को हटाया जाए। प्रभावित लोगों को सात दिनों का नोटिस देकर सुनने के बाद उचित आदेश पारित करें। ज़िलाधिकारी ने स्टेटस रिपोर्ट फाइल कर कहा कि सड़कों से मलुवा हटाया गया है। एक कमिटी बनाकर प्रभावितों को नोटिस देकर मामले का निस्तारण किया जा रहा है। प्रभावितों की ओर से न्यायालय को सूचित किया गया कि वो 60 से 70 वर्षों से किराएदार और भूमि के स्वामी हैं और प्रशासन, न्यायालय के आदेश की आड़ में उन्हें बेदखल कर रहा है।न्यायालय ने कहा था कि वो बुधवार तक कागज दिखाएं और जिलाधिकारी इसकी स्टेटस रिपोर्ट न्यायालय में पेश करें। तब तक सड़क से अतिक्रमण ध्वस्तीकरण ड्राइव रोक दी गई थी। आज यानी बुधवार को मुख्य न्यायाधीश ऋतु बाहरी और न्यायमूर्ति कलोक कुमार वर्मा की खंडपीठ ने ज़िलाधिकारी को समिति के माध्यम से तीन सप्ताह में कथित अतिक्रमणकारियों की एप्लीकेशनों को सुनकर उसका निस्तारण(तय)करने को कहा है।


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